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मंदिर की आड़ में गरीबों की ज़मीन से कर रहे उन्हें बेदखल


मदनमहल थाना प्रभारी नीरज वर्मा ने बताया की एक युवक को घायल अवस्था में होमसाइंस कालेज रोड स्थित अस्पताल में कल रात भर्ती किया गया था । पुछताछ में युवक ने बताया अपना नाम नीरज जैन उर्फ लालू जैन है वह गढ़ा में जैन मंदिर के सामने किराने की दुकान चलाता है। 24 अप्रैल की रात करीब 4:30 पर वह अपने घर पर था। तभी उसके समाज के सचिन दानपति एवं बृजेंद्र ने फोन करके बताया कि प्रकाश विश्वकर्मा, पवन विश्वकर्मा, धनराज कोरी, तथा राकेश कोरी जैन धर्मशाला के दरवाजे पर लात मार रहेतु है। जब मैं वहां पहुंचा तो उसने वहां पहुंचकर इन लोगों से दरवाजे में लात मारने से मना किया। तभी प्रकाश विश्वकर्मा, अशोक विश्वकर्मा, पवन विश्वकर्मा धनराज कोरी, राकेश कोरी, तथा किशन एवं उनकी घर की महिलाएं अनीता विश्वकर्मा, बंदना विश्वकर्मा, राखी विश्वकर्मा एवं पूनम विश्वकर्मा, कविता कोरी, वंदना कोरी, पूजा कोरी सभी ने एक राय होकर उस पर हमला किया है। सभी लोगों ने डंडे एवं पत्थर से उसके साथ मारपीट करते हुए घायल कर दिया। तभी विनोद जैन वहां पहुंचे हैं बीच-बचाव करने लगे तो उन्हें भी सिर में घातक चोट पहुंचाई गई। रिपोर्ट के आधार पर 147, 148, 307, 506 के तहत मामला दर्ज कर मामला पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। घटित घटना को देखते हुए शहर पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ बहुगुणा द्वारा आरोपियों को गिरफ्तार करने के निर्देश दिए गए जिसके बाद टीम गठित कर रिपोर्ट में दर्ज सभी आरोपियों को जिसने एक 16 वर्षीय किशोर भी शामिल है। इस पूरे मामले को विवेचना में लेते हुए मामला दर्ज कर लिया है।

परंतु हमारी ग्राउंड रिपोर्ट के मुताबिक जिन लोगों पर आरोप लगाया गया है वो गरीब लोग है , जिसकी जमीन खाली कराने हेतु नीरज जैन उन लोगों के पास गया था। जमीन खाली न करने पर दोनों पक्षों में हाथा पाई हों गई जिसमे नीरज जैन को चोट आई है। क्या पुलिस भी इस मामले को गुमराह कर रही हैं वरना बिना वजह कोई व्यक्ति मंदिर में खुले आम लात क्यों मरेगा। अगर ये लोग मंदिर में लात मार रहे थे तो मंदिर के आस पास लोगो को सुनाई या दिखाई नहीं दिया होगा क्या। और पुलिस ने जिन लोगों को आरोपी बनाया हैं उसमें एक 16 वर्षीय किशोर भी है क्या वो आरोपी है। जो धारा लगाई गई है उसमे 307 का मामला कहा से बीच में आ गया।

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