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मेगा स्वास्थ्य शिविर की खुली पोल, कालाडाही की शर्मसार करती तस्वीरे, एम्बुलेंस के बावजूद जमीन पर इलाज


अनुपपूर जिले के पुष्पराजगढ़ जनपद अंतर्गत ग्राम पंचायत महोरा के कालाडाही गाँव मे 1 जनवरी 2022 को बैगा जनजाति का समुदाय हैजा जैसे गंभीर महामारी की चपेट में आ गया था 3 जनवरी 2022 तक 3 महिलाओं की मौत हो गई थी लगभग 20 व्यक्ति सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पुष्पराजगढ़ में अब भी ईलाजरत है इतनी बड़ी घटना की जानकारी को जैसे ही मीडिया ने टीवी चैनलों के माध्यम से दिखाना शुरू किया देर शाम होते होते अनुपपुर जिला कलेक्टर सोनिया मीणा ने मामले की गंभीरता को देखते हुए 4 जनवरी को मेघा स्वास्थ्य शिविर लगाने की जानकारी देते हुए प्रेस विज्ञप्ति जारी कर दी।

दरअसल हम आपको बतादें कि आखिकार 3 मौत के बाद प्रशासन जागा औऱ दिनाँक 4 जनवरी 2022 को कालाडाही गाँव मे स्वास्थ्य विभाग के द्वारा मेंगा स्वास्थ्य शिविर कैम्प लगाया गया जहां पूरे गाँव का शिविर के माध्यम से स्वास्थ्य जाँच कराया जाना सुनिश्चित किया गया पर गौर करने वाली बात तो यह है कि प्रशासन डेमेज कंट्रोल में जुटा हुआ है वही जब कालाडाही गाँव मे मेघा स्वास्थ्य शिविर का जायजा लेने मीडिया की टीम पहुँची तब स्वास्थ्य विभाग द्वारा 4 दिनों बाद आयोजित मेघा स्वास्थ्य शिविर की पोल ही खुल गई मेघा स्वास्थ्य शिविर में दोपहर 2 बजे तक डॉक्टर अनुपस्थिति रहे वही स्वास्थ्य विभाग के एएनएम, आशा ही मेगा स्वास्थ्य शिविर में कमान संभालते हुए ग्रामीणों की जाँच दवाइयां आदि बाटने में लगी हुई थी स्वास्थ्य विभाग की लचर व्यवस्था का नजारा कैमरे में कैद हो गया एएनएम धूप में रख कर दवाइयों का वितरण कर रही थी मीडिया ने जब इस बात पर सवाल किया तब अनान फानन में स्वास्थ्य कर्मचारियों ने धूप में रखे कुर्सी टेबल को पेड़ की छाव के नीचे लगा लिया। मेगा स्वास्थ्य शिविर की धज्जियाँ उड़ना बन्द नही हुई और शर्मसार करती तस्वीरे... कैमरे में फिर कैद हो गई एक महिला को जमीन पर लेटा कर बॉटल लगाया गया जब कि सामने में 2 एम्बुलेंस खड़ी थी शिविर में मौजूद अन्य स्टॉप को जब इस बात की भनक लगी कि मीडया ने शर्मसार करती तस्वीरे कैमरे में कैद कर ली, तब आनन फानन बॉटल लगे महिला को जमीन से उठा एम्बुलेंस में शिप्ट कराया कराया गया हलाकि इन सबसे एक बात स्पष्ठ होती है कि राष्ट्रपति के दत्तक पुत्र कहे जाने बैगा जनजाति समुदाय के 3 मौतो के बाद आज का यह मेघा शिविर महज

डेमेज कंट्रोल करने के लिए ही आयोजित किया गया था काश इस स्वास्थ्य शिविर को शुरुआत से ही इस गाँव मे लगा दिया होता तो 3 इंसानी जिंदगियो कों बचाया जा सकता था सवाल तो खड़ा होना लाजमी है।

जब हमारे संवाददाता ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के बीएमओ डॉ सुरेन्द्र सिंह से आज के मेगा स्वास्थ्य शिविर की जनाकारी ली तब उन्होंने बताया की स्थिति अब कंट्रोल में है वही जम हमारे संवाददाता ने डॉक्टरों के समय मे उपस्थित न होने के बारे में पूछा तब बीएमओ ने सड़क का बहाना बनाते हुए देर से आने की बात कहकर पलरा झाड़ लिया जबकि अन्य विभाग सुबह से ही आयोजित मेगा शिविर में मौजूद रहे।


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