लापरवाह अधिकारी कर्मचारियों पर कार्रवाई 1 निलंबित,1 को पद से हटाया, 7 को नोटिस, 2 की वेतनवृद्धि रोकी
- News Writer
- May 5, 2022
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भोपाल। का सिलसिला जारी है। दरअसल जिले में महिला एवं बाल विकास विभाग के द्वारा आंगनबाड़ियों का संचालन किया जाता है। हालांकि बुधवार को कलेक्टर ने विभाग के कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान बड़े स्तर पर लापरवाही सामने आने के बाद कलेक्टर ने चार परियोजना अधिकारी को नोटिस जारी करने के निर्देश दे दिए हैं। वहीं भीमपुर के परियोजना अधिकारी के वेतन वृद्धि रोक दी गई है।जानकारी के मुताबिक कलेक्टर ने विभाग के कामकाज को लेकर भी नाराजगी जताई है। दरअसल कलेक्टर ने गंभीर आपत्ति जताते हुए कहा कि बैठक में अधूरी जानकारी अधिकारी उपस्थित हो रहे हैं। वही पोषण पुनर्वास केंद्र में दर्ज बच्चों की जानकारी की समीक्षा के दौरान भीमपुर के परियोजना अधिकारी को समुचित जानकारी ना होने के कारण कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया गया। वहीं उनके वेतन वृद्धि रोकने के निर्देश दे दिए गए हैं। साथ ही तीन और परियोजना अधिकारी को कारण बताओ नोटिस के निर्देश जारी किए गए हैं। वहीं पर्यवेक्षकों द्वारा आंगनबाड़ी केंद्रों का भ्रमण नहीं कर रहे हैं। वैसे पर्यवेक्षकों को भी कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए गए हैं। कहा गया कि संतोषजनक जवाब नहीं पाए जाने वाले अधिकारी कर्मचारियों के वेतन काटने वेतन वृद्धि रोकने की कार्रवाई की जाएगी।
एक अन्य कार्रवाई हरदा जिले में की गई है। जहां तबादला नीति का पालन न करने के कारण शासन द्वारा वन मंडल अधिकारी नरेश कुमार दोहरे को निलंबित कर दिया गया है। इतना ही नहीं शहडोल वन वृत्त के मुख्य वन रक्षक प्रभात कुमार वर्मा को भी पद से हटा दिया गया है। दरअसल प्रभात कुमार वर्मा के खिलाफ कई शिकायतें मिली थी वन मंडल अधिकारी नेहा श्रीवास्तव ने उनके विभाग प्रमुख से लिखित शिकायत दर्ज कराई थी। जिसके बाद इस मामले में जांच कराई गई थी।
इससे पहले वन मंडल अधिकारी नरेश कुमार दोहरे को अगस्त 2020 में हरदा पदस्थ किया गया था। 20 अगस्त से मई 2021 के बीच दोहरे ने 33 कर्मचारियों के तबादले किए। जिसमें स्थानांतरण नीति 2019 का पालन नहीं किया गया था। वहीं जांच में मामला को सही पाए जाने के कारण दौहरे को निलंबित कर दिया गया है।
वहीं एक अन्य कार्रवाई जबलपुर जिले में की गई है। जहां रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय से डुमना एयरपोर्ट के बीच करीब 10 किलोमीटर फोरलेन सड़क बनाने का काम धीमी गति से चल रहा है। इसके लिए 6 महीने से अधिक का वक्त गुजर चुका है लेकिन अब तक 15 फ़ीसदी काम हो पाए हैं। काम की गुणवत्ता धीमी गति को देखते हुए राज्य शासन की तरफ से ठेकेदार को नोटिस जारी कर दिया गया है। वहीं लोक निर्माण विभाग के अधूरे काम को पूरा करने के निर्देश भी दिए गए हैं। नोटिस जारी करते हुए कहा है कि अगले 14 महीने में सड़क निर्माण का कार्य पूरा का किया जाए जाए। बारिश से पहले लोक निर्माण विभाग अंडरपास के अधूरे काम को पूरा किया जाए।
वहीं एक अन्य कार्रवाई राजगढ़ में की गई है। जहां ओल्ड हाईवे पर आदर्श सड़क निर्माण की धीमी गति से नाराज सीएमओ द्वारा ठेकेदार को निर्माण की गतिविधि बढ़ाने के निर्देश दे दिए गए हैं। इसके लिए नोटिस जारी किया गया है। साथ ही ठेकेदार को वैधानिक कार्रवाई की भी चेतावनी दी गई है।
कुक्षी से लेकर मंडी गेट से करीब 15 मीटर सड़क बनाई जानी है। 7 महीने से ठेकेदार द्वारा महज 25% कार्य पूरा किया गया है जबकि अनुबंध के हिसाब से 1 वर्ष में कार्य पूरा करना था। ऐसे में 5 महीने में 75 फीसद कार्य पूर्ण करना होगा। इसके मद्देनजर सीएमओ देव बाला पिपलोनिया ने ठेकेदार को चेतावनी देते हुए कहा कि निर्माण कार्य में गति लाई जाए। वहीं अधिकारियों की चेतावनी के बाद अब कार्य में गति संभव हो सकती है।
एक अन्य कार्रवाई इंदौर जिले में की गई है। जहां भिंड कलेक्टर द्वारा निर्वाचन कार्य में लापरवाही के आरोप में सस्पेंड किए गए शासकीय शिक्षक नितिन कुमार जैन के घर आरोप चश्मा किया गया है। इंदौर कलेक्टर कार्यालय से प्राप्त जानकारी के मुताबिक कलेक्टर भिंड द्वारा निर्वाचन कार्य में लापरवाही करने पर शासकीय हाई स्कूल के हिंदी के शिक्षक निर्मल कुमार जैन का निलंबन किया गया था। निलंबित शिक्षक के निलंबन पर आरोप पत्र प्राप्त नहीं किया गया था और मुख्यालय पर उपस्थित होते हुए विद्यालय से लगातार अनुपस्थित है। इस संबंध में सेवा पुस्तिका में दर्ज इंदौर के पते पर उनके घर नोटिस भी चस्पा कर दिया गया है।
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